नहीं थम रहीं BYJU’s की मुश्किलें, फाउंडर रविंद्रन के घर और दफ्तर पर ईडी का छापा
एजुटेक स्टार्टअप बायजूस इस समय ईडी की जांच के दायरे में आ चुकी है. कंपनी के फाउंडर बायजू रविंद्रन के घर और दफ्तर समेत अन्य जगहों पर जांच एजेंसी ने छापेमारी की है.
भारतीय स्टार्टअप इकोसिस्टम के सितारे और यूनिकॉर्न कंपनी बायजूस की मुश्किलें थमने का नाम नहीं ले रही हैं. पहले अभिभावकों पर बच्चों को ट्यूशन पढ़ाने का दबाव बनाने को लेकर कंपनी को सोशल मीडिया पर काफी कुछ झेलना पड़ा. अब कंपनी की फंडिंग भी ईडी की जांच के घेरे में है.
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) बायजूस के फाउंडर और सीईओ बायजू रविंद्रन के घर, दफ्तर और अन्य जगहों पर छानबीन कर रहा है. जांच एजेंसी ने कंपनी से जुड़े विभिन्न परिसरों पर शनिवार को छापा मारने की कार्रवाई की है.
विदेशी फंडिंग पर उठे सवाल
ईडी ने रविंद्रन बायजू और उनकी कंपनी ‘थिंक एंड लर्न प्राइवेट लिमिटेड’ के खिलाफ एक मामले की जांच कर रही है. ये मामला विदेशी मुद्रा प्रबंधन अधिनियम (यानी फेमा कानून) के कुछ प्रावधानों का उल्लंघन करने से जुड़ा है.
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ईडी का कहना है कि बायजू रविंद्रन और उनकी कंपनी ने विदेश से फंडिंग जुटाने के दौरान फेमा के कुछ प्रावधानों का कथित उल्लंघन किया है. इसलिए ईडी ने शनिवार को बेंगलुरू में बायजूस जुड़े परिसरों पर छापा मारा है. इसमें एक आवासीय परिसर और दो दफ्तर शामिल हैं.
जब्त किए कई दस्तावेज-डाटा
ईडी ने छापेमारी के दौरान कई सबूत जुटाने की कोशिश की. इस कड़ी में उसने कंपनी और उसके वित्तीय लेनदेन से जुड़े कई अहम दस्तावेज और डाटा को जब्त किया है. ईडी का कहना है कि उसे कई लोगों से बायजूस के खिलाफ शिकायतें मिली थीं. इतना ही नहीं ईडी ने कई बार बायजू रविंद्रन को समन किया, लेकिन वह कभी भी ईडी के सामने उपस्थित नहीं हुए.
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इससे पहले बायजूस पर छात्रों और उनके अभिभावकों का डेटाबेस खरीदने, अभिभावकों को बच्चों के फेल होने का डर दिखाकर ट्यूशन पढ़वाने का दबाव बनाने के आरोप भी लगे थे.
विदेश से जुटाए 28,000 करोड़ रुपये
ईडी की तलाशी में ये बात सामने आई है कि बायजूस ने 2011 से 2023 के बीच करीब 28,000 करोड़ रुपये का प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) हासिल किया है. जबकि इसी अवधि में कंपनी ने कई विदेशी कंपनियों को 9,754 करोड़ रुपये की राशि भेजी. कंपनी ने ये रकम ओवरसीज डायरेक्ट इंवेस्टमेंट के रूप में विदेशों को भेजी है.