उत्तराखंड: पहाड़ों में छिपा वो रहस्य…क्यों अटकने लगती हैं सांसें? चारधाम यात्रा के दौरान हुईं कई मौतें

उत्तराखंड: पहाड़ों में छिपा वो रहस्य…क्यों अटकने लगती हैं सांसें? चारधाम यात्रा के दौरान हुईं कई मौतें

उत्तराखंड में चारधाम यात्रा चालू है. बड़ी संख्या में श्रद्धालु उत्तराखंड के चारो धामों में पहुंच रहे हैं. इस बीच श्रद्धालुओं की मौत की खबरें भी आ रही है. ऐसे में आइए जानते है कि पहाड़ों पर क्यों लोगों की सांसें थमने लगती है. इसका क्या कराण है. साथ ही जानते हैं कि पहाड़ों पर यात्रा से पहले किन बातों का ध्यान रखना चाहिए.

उत्तराखंड के चार धाम केदरानाथ, बद्रीनाथ, यमुनोत्री और गंगोत्री की यात्रा बहुत पवित्र मानी जाती है. हर साल बड़ी तादाद में श्रद्धलु इस चारधाम की यात्रा पर जाते हैं. इस बार भी ये यात्रा शुरू है. हालांकि चारधाम यात्रा के दौरान अब तक कई लोगों की जान जा चुकी है. आइए जानते है कि पहाड़ों पर ऐसा क्या है, जिसकी वजह से लोगों की सांसें थम जा रही हैं. साथ ही जानते हैं कि पहाड़ों पर यात्रा के समय किन बातों का खयाल रखना चाहिए.

चारधाम यात्रा हर साल मई में शुरू होती है. हिंदुओं के लिए ये यात्रा बहुत पावन मानी जाती है. हर साल लाखों श्रद्धालु चारधाम की यात्रा पर जाते हैं. इस बार भी बड़ी संख्या में श्रद्धालु चारधाम पहुंचे रहे हैं, लेकिन लोगों के मन में ये सवाल है पहाड़ों पर लोगों की सासें क्यों थम रही हैं. दरअसल, चारधाम के मंदिरों की ऊंचाई समुद्र तल से तीन हजार फिट है. आप जितना ऊंचाई पर पहाड़ पर जाते हैं, हवा में ऑक्सीजन लेवल उतना कम हो जाता है.

क्यों अटक जाती हैं सांस?

समुद्र तल पर हवा में ऑक्सीजन की मात्रा 21 फीसदी बताई जाती है, लेकिन तीन हजार फीट की ऊंचाई पर जाने में हवा में ऑक्सीजन लेवल बहुत ही कम हो जाता है. इसे डॉक्टर्स और मेडिकल की भाषा में ‘हाइपोक्सिया’ कहा जाता है. जो लोग मैदानी क्षेत्रों से सीधे पहाड़ पर चले जाते हैं, ये हालात उन लोगों के लिए जानलेवा हो सकते हैं.

ऐसे लोगों को सबसे ज्यादा खतरा

डॉक्टर्स बिना किसी तैयारी के ऊंचाई पर चढ़ने से ‘एक्यूट माउंटेन सिकनेस’ का खतरा बढ़ने की बात कहते हैं. सिर दर्द होना, चक्कर आना, उल्टी आना और सांस फूलना इसके लक्षण हैं. कई लोग बिना मेडिकल जांच और तैयारी के पहाड़ की ओर से चल पड़ते हैं, जिससे खतरा और बढ़ता है. पहाड़ों पर जान का जोखिम सबसे ज्यादा उन लोगों को होता है, जो दिल के रोग, हाई ब्लड प्रेशर, शुगर और सांस के बीमारियों के मरीज होते हैं.

इन बातों का रखें ध्यान

अगर आप भी चार धाम या ऊंचाई वाले पहाड़ की यात्रा पर जाने की प्लानिंग ककर रहे हैं, तो कुछ सावधानी अवश्य रखें. इससे आपकी जान बच सकती है. यात्रा से पहले अपनी पूरी मेडिकल जांच कराएं और डॉक्टर्स से सलाह लें. पहाड़ों पर जाकर कुछ दिन कम ऊंचाई वाले क्षेत्रों में रुकें, ताकि आपका शरीर कम ऑक्सीजन की आदत डाल सके. सीधे कभी भी ऊंचाई पर न चढ़ें. गर्म कपड़े और दवाइयां साथ रखें. पानी ज्यादा से ज्यादा पीएं, ताकि शरीर में ऑक्सिजन लेवल बना रहे.

ये भी पढ़ें:देहरादून में सड़क से गायब हो जाएगा ट्रैफिक, नितिन गडकरी के इस प्लान से खत्म हो जाएगा जाम का झाम