मथुरा: कुट्टू के आटे में मिला था मल मूत्र… जन्माष्टमी के दिन खाकर बीमार हो गए थे 250 लोग; सैंपल जांच में खुलासा
जन्माष्टमी व्रत के दौरान कुट्टू के आटे से बनी पूड़ी और पकौड़ियांं खाकर बीमार होने के मामले में बड़ा खुलासा हुआ है. इस आटे में चूहे और गिलहरियों के मल मूत्र मिले हुए थे. यह खुलासा खाद्य सुरक्षा विभाग की जांच में हुआ है. जांच के दौरान लिए गए सभी सैंपल फेल हो गए हैं.
उत्तर प्रदेश में कृष्ण की नगरी मथुरा में जन्माष्टमी के दिन कुट्टू के आटे की पूड़ी और पकौड़ी खाकर 250 लोगों के बीमार पड़ने के मामले में बड़ा खुलासा हुआ है. इन्हें खाने के लिए जिस आटे से पूड़ी और पकौड़ी बनाई गई थी, उसमें जानवरों का मल मूत्र मिला हुआ था. यह सब जानते हुए भी व्यापारियों ने उसकी सफाई नहीं कराई और उसी हाल में पिसवाकर मार्केट में बेच दिया था. यह खुलासा खाद्य सुरक्षा विभाग द्वारा इन दुकानों से लिए एक सैंपल जांच में हुआ है.घटना के बाद ही खाद्य सुरक्षा विभाग की टीम ने इन पांच दुकानों से सैंपल भरे थे.
अब इन सभी दुकानों की सैंपल रिपोर्ट आई है. इसमें ये सैंपल फेल बताए गए हैं. बता दें कि मथुरा में 27 अगस्त को ढाई सौ लोग फूड पॉइजनिंग के शिकार हो गए थे. इन सभी लोगों ने 26 अगस्त यानी श्रीकृष्ण जन्माष्टमी की रात कुट्टू के आटे की पूड़ी और पकौड़ी खाई थी. इन सभी लोगों को अस्पताल में भर्ती कराया गया. हालात को देखते हुए मथुरा के डीएम ने मामले का संज्ञान लेते हुए खाद्य सुरक्षा विभाग को मामले की जांच के आदेश दिए थे. इसके बाद विभाग की टीम ने फरह थाना क्षेत्र के पांच व्यापारियों राकेश गोयल, अमित अग्रवाल, मथुरा के गोविंद नगर थाना क्षेत्र में रमन टॉवर से अंकुर अग्रवाल, बिरला मंदिर के पास नवीन अग्रवाल और गल्ला मंडी से ब्रजवासी गुड़ वाले के प्रतिष्ठान से सैंपल भरे थे.
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आटे में मिले चूहे और गिलहरी के मल मूत्र
इन सभी सैंपल की जांच आगरा के खाद्य लैब में कराई गई. इस दौरान पाया गया कि कुट्टू का आटा पिसाते हुए साफ सफाई का ध्यान नहीं रखा गया था. कुट्टू में जानवरों के मल मूत्र पड़े थे, बावजूद इसके पिसवा दिया गया और मार्केट में उतार दिया गया. इस आटे में खासतौर पर चूहे और गिलहरी के अलावा कई अन्य जीव जंतुओं के मल मूत्र पाए ग हैं. इस रिपोर्ट के आने के बाद खाद्य विभाग ने खुले कुट्टू के आटे की बिक्री पर तत्काल प्रभाव से रोक लगा दी है.
जन्माष्टमी की रात खाईं थी पकौड़ियां
इसी के साथ सभी फेल होने सैंपल का मामला बनाकर कोर्ट में भेजा जा रहा है. बता दें कि जन्माष्टमी के दिन बड़ी संख्या में लोगों ने व्रत रखा था. वहीं मध्य रात्रि में भगवान का जन्म होने के बाद लोगों ने फलाहार कर अपने व्रत का परायण किया था. इस दौरान भक्तों को कुट्टू के आटे से बनी पूड़ी और पकौड़ियां परोसी गई थी. मथुरा में भी इसी तरह की घटना हुई थी और इस दौरान 250 लोग बीमार पड़ गए थे. डॉक्टरों ने इन लोगों की जांच के बाद इनके बीमार होने की वजह फूड पॉइजनिंग बताया था.