AI को नई ऊंचाई पर ले जाएगी ChatGPT की कंपनी, आम लोगों को होंगे ये फायदे

AI को नई ऊंचाई पर ले जाएगी ChatGPT की कंपनी, आम लोगों को होंगे ये फायदे

ChatGPT बनाने वाली टेक कंपनी OpenAI जेनरेटिव AI सिस्टम के लिए नए टूल रिलीज करेगी. इससे यूजर्स को पहले से ज्यादा कंट्रोल मिलेगा. इसके अलावा इस्तेमाल के लिहाज से आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस को यूजर्स के लिए और बेहतर बनाया जाएगा.

ChatGPT जैसी खलबली मचाने वाली सर्विस इजाद करके दुनिया की नजरों में आई OpenAI ने आगे के प्लान की डिटेल्स शेयर की हैं. आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) पर काम कर रही कंपनी ने यूजर्स के लिए नए टूल्स जारी करने का ऐलान किया है. इससे जनरेटिव AI सिस्टम को कंट्रोल करना पहले से कहीं ज्यादा आसान हो जाएगा. कंपनी इन टूल्स को आम यूजर्स के अलावा अलग-अलग काम या बिजनेस के लिए पेश करेगी. ये जानकारी कंपनी के CEO सैम ऑल्टमैन (Sam Altman) ने दी है.

मॉर्गन स्टेनली कॉन्फ्रेंस में इन्वेस्टर्स से बात करते हुए ऑल्टमैन ने कहा कि AI कंपनी एक ऐसे प्लेटफॉर्म को डेवलप करने पर फोकस करेगी जो दूसरों को आर्टिफिशियल प्रोग्रामिंग इंटरफेस (API) बेचेगा और ChatGPT जैसी शानदार ऐप बनाएगा. पिछले साल लॉन्च हुए ChatGPT ने जनरेटिव AI सिस्टम को अलग लेवल पर पहुंचाया है.

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ChatGPT ने मचाई सनसनी

नवंबर 2022 में लॉन्च होने के बाद से चैटजीपीटी की पॉपुलैरिटी लगातार बढ़ रही है. इसकी साइट पर विजिटर्स की संख्या जनवरी में 61 करोड़ से बढ़कर 1 अरब से भी ज्यादा हो गई है. ओपनएआई ने चैटजीपीटी का सब्सकिप्शन प्लान भी लॉन्च किया है, जिसमें कई शानदार फीचर्स और सर्विस शामिल हैं. इसके लिए यूजर्स को 20 डॉलर (करीब 1,600 रुपए) मंथली चार्ज देना होगा.

बिजनेस में होगा फायदा

मैनेजमेंट कंस्लटेंसी बेन एंड कंपनी ने ओपनएआई के साथ ग्लोबल पार्टनरशिप की है. इससे बेन AI को अपनी क्लाइंट सर्विस के साथ जोड़ पाएगा. ओपनएआई के साथ काम करने वाली एंटरप्राइज अपने डेटा का इस्तेमाल कर सकती हैं, और डेटा सेफ्टी से जुड़ी चिंताओं को कम करने के लिए मॉडल की एक कॉपी बना सकती हैं. कोका कोला ने भी एड, मैसेज, फोटो बनाने के लिए ओपनएआई से हाथ मिलाया है.

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100% सटीक नहीं होगा AI

कंपनी आम यूजर्स को भी ज्यादा कंट्रोल देगी. ऑल्टमैन ने आगे कहा कि यूजर्स तय कर पाएंगे कि AI सिस्टम को कैसे काम करना है. इससे पहले कंपनी ने कहा था कि वो चैटबोट की एक अपग्रेड पर काम कर ही है, जो यूजर्स को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस में पक्षपात को कम करने में मदद करेगा. हालांकि, ऑल्टमैन ने माना है कि AI सिस्टम 100 फीसदी सटीकता को हासिल नहीं कर सकता है.