Mauni Amavasya 2025: कैसे पहुंचें संगम, कितना चलना होगा पैदल… मौनी अमावस्या पर महाकुंभ आ रहें तो पढ़ लें ये खबर

Mauni Amavasya 2025: कैसे पहुंचें संगम, कितना चलना होगा पैदल… मौनी अमावस्या पर महाकुंभ आ रहें तो पढ़ लें ये खबर

महाकुंभ में मौनी अमावस्या का स्नान करने जा रहे हैं तो कम से कम 10 किमी पैदल चलने के लिए तैयार रहिए. यदि आप अपनी गाड़ी से जा रहे हैं तो शहर के बाहर ही गाड़ी रोक दी जाएगी. इसी प्रकार रोडवेज की बसों का ठहराव भी शहर के बाहर बनाया गया है. ट्रेन आपको जंक्शन, नैनी या सुबेदारगंज स्टेशन तक पहुंचा सकती है.

महाकुंभ में मौनी अमावस्या पर भारी भीड़ उमड़ पड़ी है. बुधवार यानी 29 जनवरी को ही यहां मौनी अमावस्या का स्नान है. करोड़ों की तादात में श्रद्धालु गंगा यमुना के संगम में पवित्र डुबकी लगाने के लिए पहुंच चुके है. वहीं लाखों की तादात में श्रद्धालु महाकुंभ के रास्ते में है. हालात को देखते हुए मेला प्राधिकरण ने शहर के सभी प्रवेश द्वार पर ही वाहनों को रोक दिया है. यहां से यात्रियों को पैदल ही संगम तक जाना पड़ रहा है. ऐसे में यह सवाल उठ रहा है कि यदि मौनी अमावस्या पर आप स्नान का मन बना रहे हैं तो आपको कम से कम कितना पैदल चलना होगा.इस खबर में हम इसी सवाल को ढूंढने की कोशिश करेंगे.

प्रसंग की शुरूआत करते हैं ट्रेन से यात्रा करने वालों से. दिल्ली-हावड़ा रूट से आने वाली ट्रेनों का ठहराव प्रयागराज जंक्शन और सूबेदारगंज रेलवे स्टेशन है. यहां से कोई ऑटो या ई-रिक्शा नहीं मिलेगा. यहां से पैदल ही पत्थर गिरजाघर आना होगा. यहां से शटल बसें तो मिलेंगी, लेकिन हनुमान मंदिर तक ही जाएंगी. ऐसे में हनुमान मंदिर से संगम तक करीब 13 से 14 किमी पैदल चलकर ही जाना होगा. इसी प्रकार मुंबई और मध्य प्रदेश की ओर से आने वाली ट्रेनों का ठहराव छिवकी व नैनी रेलवे स्टेशन पर होगा. यहां स्टेशन से लेप्रोसी तक शटल मिलेगी और फिर आगे संगम घाट तक आपको 11 से 12 किमी की दूरी पैदल ही तय करनी होगी.

बस से आने वालों को भी चलना होगा 10 किमी

महाकुंभ में बस से आने वाले यात्रियों को भी कम से कम 10 किमी पैदल चलना होगा. यदि आप मिर्जापुर विंध्याचल की तरफ से आ रहें हैं तो आपकी बस का ठहराव नैनी स्थित सरस्वती हाईटेक सिटी बस स्टेशन पर होगा. यहां से शटल की सेवा लेप्रोसी मोड़ तक मिलेगी और इसके बाद करीब 11 से 12 किमी पैदल चलकर घाट तक जाना होगा. यदि आप संगम जाने का मूड बना रहे हैं तो इसके लिए यमुना पुल को पैदल चलकर पार करना होगा. हालांकि इस भीड़ में ऐसा करना उचित नहीं होगा. बांदा व चित्रकूट की ओर से आने वाली बसें नैनी स्थित लेप्रोसी मिशन सेवा बस स्टेशन आएंगी. यहीं पर मध्य प्रदेश की बसें भी आकर रूकेंगी. इसी प्रकार गोरखपुर, आजमगढ़, बलिया व मऊ की ओर से आने वाली रोडवेज की बसों को झूंसी कटका में रोका जा रहा है. यहां से श्रद्धालु अंडावा मोड़ तक शटल से जा सकते हैं और उसके आगे करीब 10 किमी पैदल चलकर संगम घाट तक जाना होगा.

अपनी गाड़ी से जा रहे हैं तो?

यदि आप महाकुंभ में स्नान के लिए अपनी गाड़ी से जा रहे हैं तो आपकी गाड़ी को शहर में प्रवेश नहीं मिलेगा. शहर के बाहर ही आपको अपनी गाड़ी पार्क करनी होगी. जौनपुर की ओर से आने वाले वाहन सहसों चौराहे के आगे रवई गारापुर तिराहा, गारापुर रोड, चीनी मिल में पार्क होंगे. यहां से करीब 8 किमी पैदल चलकर श्रद्धालु ओल्ड जीटी रोड के रास्ते संगम घाट सेक्टर पांच पहुंचकर डुबकी लगाएंगे.वहीं वाराणसी की ओर से आने वाले वाहनों को हनुमानगंज हवुसा मोड़, कनिहार मोड, कनिहार अडरपास चमनगंज, उस्तापुर पार्किंग मिलेगी. फिर यहां से 10 किमी पैदल चलना होगा.

मिर्जापुर से आने वाले अरैल घाट पर करेंगे स्नान

मिर्जापुर से आने वाले वाहनों को रज्जू भैया सिटी पार्किंग, टेंट सिटी पार्किंग, सरस्वती हाईटेक या फिर ओमेक्स पार्किंग में गाड़ी छोड़नी होगी. यहां से करीब 8 किमी पैदल चलकर अरैल संगम घाट जाना होगा. वहीं रीवा-चित्रकूट मार्ग से मध्य प्रदेश या चित्रकूट की ओर से आने वाले श्रद्धालुओं को मामा भांजा तालाब, दांडी तिराहा, टीसीआई मोड़, खान चौराहा एग्रीकल्चर पार्किंग, नवप्रयागम पार्किंग और गजियाग्राम पार्किंग में गाड़ी छोड़नी होगी. यहां से भी अरैल घाट तक करीब 8 किमी पैदल चलकर जाना होगा. जबकि कौशाम्बी की ओर से आने वाले वाहन धूमनगंज नेहरू पार्क में खड़े होंगे और यहां से शटल सिटी बस से सिविल लाइंस या हिन्दू हॉस्टल तक पहुंचने के बाद करीब 8 किमी पैदल चलकर संगम जाना होगा.

लखनऊ से आने वालों के लिए इंतजाम

लखनऊ या प्रतापगढ़ की ओर से आने वाले वाहनों को मंडलायुक्त कार्यालय, मजार चौराहा, आईईआरटी फ्लाई ओवर, आईईआरटी पार्किंग में छोड़ना होगा. यहां से बैंक रोड तक शटल बस मिलेगी और फिर इसके आगे करीब 10 किमी का सफर पैदल तय कर संगम पहुंचा जा सकता है.