अंधाधुंध गोलीबारी, ग्रेनेड अटैक और दहशत… पाकिस्तान में क्रिकेट पर लगा सबसे बदनुमा दाग

अंधाधुंध गोलीबारी, ग्रेनेड अटैक और दहशत… पाकिस्तान में क्रिकेट पर लगा सबसे बदनुमा दाग

लाहौर में दूसरे टेस्ट मैच का तीसरा दिन था और खेल शुरू होने में बमुश्किल एक-दो घंटे बचे थे लेकिन खेल कभी शुरू नहीं हो सका, बल्कि अगले 10 सालों के लिए बंद हो गया.

दिसंबर 2022 में न्यूजीलैंड ने कई सालों के बाद पाकिस्तानी जमीन पर क्रिकेट खेला. टेस्ट मैच और वनडे सीरीज खेली. उससे कुछ हफ्ते पहले इंग्लैंड ने भी ऐतिहासिक टेस्ट सीरीज खेली, जो 17 साल बाद आयोजित हुई थी. उससे भी कुछ महीने पहले ऑस्ट्रेलिया ने करीब 23 साल बाद पाकिस्तान जाकर टेस्ट सीरीज खेली और जीती. पाकिस्तान क्रिकेट के लिए ये साल मौजूदा सदी में सबसे खास रहा. पाकिस्तान ने इस सदी में टी20 वर्ल्ड कप जीता, चैंपियंस ट्रॉफी जीती लेकिन उसके लिए इन टीमों का आना ज्यादा खास था और इसकी वजह है आज की तारीख, जब लाहौर में सुबह-सुबह 12 आतंकियों ने पाकिस्तान क्रिकेट को बदल कर रख दिया.

3 मार्च 2009 का ही काला दिन था, जब लाहौर के गद्दाफी स्टेडियम में चल रहे टेस्ट मैच का तीसरा शुरू होने से पहले ही खत्म हो गया. सिर्फ तीसरा दिन क्या, पूरा टेस्ट मैच, पूरा दौरा और कई सालों के लिए पाकिस्तान में अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट भी खत्म हो गया. क्रिकेट इतिहास की सबसे खौफनाक घटना ने पूरी दुनिया को चौंका दिया था और पहले से ही बदनाम पाकिस्तान को कहीं मुंह दिखाने लायक नहीं छोड़ा.

ये भी पढ़ेंः 3 दिन में गिरे पूरे 40 विकेट, पेसरों के आगे बल्लेबाज बेहाल, इंदौर से पहले इस मैदान पर खेल खत्म

अंधाधुंध गोलीबारी, ग्रेनेड हमला और दहशत

सुबह-सुबह होटल से स्टेडियम की ओर जा रही श्रीलंका की टीम बस पर अचानक से गोलियां चलने लगीं. इससे पहले किसी को कुछ समझ आता, गोलीबारी और तेज हो गई. अचानक एक ग्रेनेड भी बस के पास फटा. बस में बैठे श्रीलंकाई खिलाड़ी तुरंत अपनी-अपनी जगह पर नीचे झुक गए. अब सबको समझ आ चुका था कि पाकिस्तान में मौजूद सैकड़ों आतंकियों में से कुछ ने इस बस पर हमला कर लिया है.

श्रीलंकाई टीम की सुरक्षा में तैनात पुलिसकर्मियों ने भी जवाबी कार्रवाई की और दोनों ओर से जमकर गोलीबारी होती रही. इस दौरान 6 पुलिसकर्मियों की मौत हो गई, जबकि दो अन्य लोगों को भी जान चली गई. श्रीलंकाई टीम बस के ड्राइवर ने इस हमले के बावजूद हिम्मत नहीं हारी और गाड़ी चलाता रहा. जल्द ही टीम स्टे़डियम में पहुंच गई थी.

ये भी पढ़ेंः हाथ में 75 रन, फिर भी हौसले बुलंद, भारतीय स्टार को उम्मीद- इस तरह ऑस्ट्रेलिया को रोकेंगे

श्रीलंकाई खिलाड़ी और अंपायर घायल

हालांकि, हमले में अजंता मेंडिस, थिलन समरवीरा और थरंगा पर्णविताना समेत 5 श्रीलंकाई खिलाड़ियों और सपोर्ट स्टाफ को चोट आई. वहीं बस के पीछे आ रही एक मिनीवैन में मैच रेफरी और अंपायर बैठे हुए थे और इस पर भी गोलियां चलाई गईं. इसके ड्राइवर की मौत हो गई, जबकि अंपायर एहसान रजा गोली लगने से घायल हो गए.

करीब 20 मिनट की अंधाधुंध गोलीबारी के बाद आतंकी भाग गए. वहीं श्रीलंकाई टीम के घायल खिलाड़ियों को प्राथमिक उपचार दिया गया और फिर पाकिस्तान एयर फोर्स के एक हैलीकॉप्टर से एयरपोर्ट ले जाया गया. यहां से एक स्पेशल चार्टर्ड प्लेन में टीम देश वापस लौट गई.

पाकिस्तान में बंद पड़ा क्रिकेट

पहले से ही आतंकी हमलों के कारण वैश्विक बिरादरी समेत क्रिकेट बिरादरी से भी दबाव झेल रहे पाकिस्तान के लिए ये आखिरी झटका साबित हुआ. इसके चलते पाकिस्तान से 2011 के वनडे वर्ल्ड कप की मेजबानी भी छिन गई. वहीं सभी टीमों ने पाकिस्तान जाने से मना कर दिया. 6 साल तक पाकिस्तान में कोई अंतरराष्ट्रीय मैच नहीं खेला गया. 2015 में जिम्बाब्वे पाकिस्तान जाने वाली पहली टीम बनी. फिर इस हमले के 10 साल बाद 2019 में श्रीलंका ने फिर पाकिस्तान का दौरा किया और टेस्ट क्रिकेट की वापसी हुई.

ये भी पढ़ेंः Virat Kohli की 10 साल से जारी नाकामी, इंदौर में भी बढ़ी परेशानी, आंकड़े बता रहे दर्दनाक कहानी