‘6 लाख और ग्रेनाइट चमकाने का फॉर्मूला दो…’, खुद को किया किडनैप, फिर पापा से कर दी अजीब डिमांड

‘6 लाख और ग्रेनाइट चमकाने का फॉर्मूला दो…’, खुद को किया किडनैप, फिर पापा से कर दी अजीब डिमांड

राजस्थान के जालोर में पैसों की खातिर एक बेटे ने अपने ही व्यापारी पिता को लूटने की कोशिश की. उसने पहले अपने अपहरण की झूठी साजिश रची. इसके बाद पिता को धमकी भरा खत भेजा. उसमें पैसों के अलावा एक और डिमांड लिखी. लेकिन जल्द ही वो पकड़ा गया. उसके पिता ने पुलिस में जाकर मामला दर्ज करवा दिया. 3 दिन बाद पुलिस ने युवक को ढूंढ निकाला. वह झाड़ियों में आराम फरमा रहा था. पुलिस उसके खिलाफ आगामी कार्रवाई कर रही है.

राजस्थान के जालोर में पुलिस ने ग्रेनाइट व्यापारी के बेटे को गिरफ्तार किया है. आरोप है कि युवक ने अपने पिता को खुद के अपहरण की झूठी बात लिखकर धमकी भरा खत भेजा. उसमें लिखा कि हमें 6 लाख रुपये और ग्रेनाइट चमकाने का फॉर्मूला बताओ. नहीं तो हम तुम्हारे बेटे को मार डालेंगे. इससे व्यापारी रतन लोहार डर गए. उन्होंने बेटे राजेंद्र को बचाने के लिए पुलिस से संपर्क किया. पुलिस राजेंद्र और अपहरणकर्ताओं को ढूंढने में लग गई. 3 दिन बाद पता चला कि राजेंद्र एक जगह खुद ही छुप कर बैठा हुआ है.

जालोर पुलिस ने उसे तुरंत पकड़ लिया. फिर उससे पूरी कहानी बताने को कहा. राजेंद्र ने बताया कि उसने पिता से पैसे ऐंठने और ग्रेनाइट चमकाने का फॉर्मूला जानने के लिए अपने अपहरण की झूठी साजिश रची थी. पुलिस की 7 टीमें उसे ढूंढने में लगी हुई थीं. 100 से ज्यादा सीसीटीवी कैमरों को खंगाला गया था.

पुलिस अधीक्षक ने बताया कि ग्रेनाइट व्यापारी रतन लोहार का 25 साल का बेटा राजेंद्र सोमवार को गायब हो गया था. इसके बाद रतन लोहार के पास शाम 5.30 के करीब धमकी भरे मैसेज आए. इनमें लिखा था कि बेटे को जिंदा देखना चाहते हो तो 6 लाख कैश और ग्रेनाइट पत्थर में चमक लाने के लिए बनाई जाने वाली बट्टी का फॉर्मूला लेकर बताए हुए पते पर आ जाओ. इसके बाद रतन लोहार ने थाने में अपहरण और फिरौती का केस दर्ज कराया.

झाड़ियों में कर रहा था आराम

पुलिस ने इसके बाद तलाश शुरू की. तीन दिनों की जांच के बाद ये पता चला कि व्यापारी के बेटे ने खुद ही अपने अपहरण की झूठी कहानी रची थी. पुलिस ने राजेंद्र को गुरुवार शाम चार बजे देसुरी-रणकपुर के बीच के रास्ते से पकड़ लिया. वह सड़क से कुछ दूर झाड़ियों में आराम फरमा रहा था. जांच के दौरान जैसे-जैसे राजेंद्र की लोकेशन मिली, उस क्षेत्र में पुलिस की टीमों ने तकनीकी सहायता लेकर उसे ढूंढने की कोशिश की. राजेंद्र के पास आईफोन था इसलिए उसकी लोकेशन आसानी से पता नहीं चल पा रही थी. पुलिस को जहां भी सीसीटीवी फुटेज में राजेंद्र नजर आया, वह अकेला था. ऐसे में पुलिस को शक हुआ कि उसने किडनैपिंग की झूठी कहानी रची है. लेकिन आखिरकार पुलिस ने उसे ढूंढ निकाला. फिलहाल वो पुलिस की गिरफ्त में है. उससे पूछताछ जारी है.