ChatGPT से मुकाबले के लिए Zuckerberg भी तैयार, Meta बना रही LLaMA लैंग्वेज

ChatGPT से मुकाबले के लिए Zuckerberg भी तैयार, Meta बना रही LLaMA लैंग्वेज

ChatGPT vs LLama: फिलहाल मेटा का आर्टफिशियल इंटेलिजेंस टूल LLama कंपनी के किसी भी प्रोडक्ट के साथ जोड़ा नहीं गया है. हालांकि, अभी यह रिसर्चर्स के लिए उपलब्ध है.

Facebook News: टेक सेक्टर में ChatGPT आने के बाद अलग-अलग कंपनियों ने भी आर्टिफिशियल लैंग्वेज मॉडल पेश किए हैं. उदाहरण के लिए गूगल का Bard और माइक्रोसॉफ्ट का Prometheus ऐसे ही लैंग्वेज मॉडल हैं जो AI पर काम करते हैं. फेसबुक के मालिकना हक वाली कंपनी मेटा का नाम भी इस फेहरिस्त में जुड़ गया है. मेटा के सीईओ मार्क जुकरबर्ग ने भी एक बड़ा AI बेस्ड लैंग्वेज मॉडल LLaMA पेश किया है. इसका पूरा नाम लार्ज लैंग्वेज मॉडल मेटा एआई (LLaMA) है.

आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की दुनिया में चैटजीपीटी ने जो तूफान मचाया है उससे दुनिया भर के एक्सपर्ट्स हैरान हैं. ये टेक्नोलॉजी यूजर्स की क्वेरी और सवालों का बिल्कुल इंसानों की तरह जवाब देती है. हर बड़ी टेक कंपनी को इसकी चुनौती का सामना करना पड़ रहा है. पहले गूगल ने बार्ड एआई लॉन्च किया और अब फेसबुक ने भी नया लैंग्वेज मॉडल जारी कर कर दिया. आगे देखें कि इसके बारे में मेटा सीईओ मार्क जुकरबर्ग ने क्या कहा.

LLaMA की खासियत

जुकरबर्ग ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर लिखा, आज हम एक नया मॉडर्न AI लार्ज लैंग्वेज मॉडल LLaMA जारी कर रहे हैं जो रिसर्चर्स को उनके काम को आगे बढ़ाने में मदद करने के लिए बनाया गया है. उन्होंने कहा कि LLM ने टेक्स्ट जेनरेट करने, बातचीत करने, लिखित कंटेंट को समराइज करने और मैथ थ्योरम को हल करने या प्रोटीन स्ट्रक्चर की भविष्यवाणी करने जैसे बेहद जटिल काम करने के लायक परफार्मेंस दिखाई है.

रिसर्च में आएगा काम

हालांकि, मेटा ने यह साफ नहीं किया कि LLaMA उन कामों में से कौन सा (अगर कोई है) काम मौजूदा समय में पूरा कर सकता है. कंपनी के ब्लॉगपोस्ट में जुकरबर्ग ने बड़े लैंग्वेज मॉडल के संबंध में केवल इतनी ही जानकारी दी कि उनकी कंपनी रिसर्च के इस ओपन मॉडल के लिए प्रतिबद्ध है और अपने नए मॉडल को एआई रिसर्च कम्यूनिटी के लिए उपलब्ध कराएगी.

Facebook-Instagram से नहीं जुड़ा LLaMA

मेटा ने अभी तक LLaMA को फेसबुक या इंस्टाग्राम जैसी किसी भी सर्विस के साथ नहीं जोड़ा है. फिलहाल यह साफ नहीं है कि मेटा का AI मॉडल इस फील्ड के दूसरे मॉडल का मुकाबला कैसे करेगा. आपको बता दें कि गूगल और माइक्रोसॉफ्ट अपने AI टेक्स्ट जेनरेटर मॉडल को सर्च इंजन प्लेटफॉर्म से जोड़ चुके हैं. वहीं, चैटजीपीटी का तो इस फील्ड में अलग ही जलवा है.