‘पकड़ौआ विवाह’ का खूनी अंत! बेगूसराय ट्रिपल मर्डर की Inside Story

‘पकड़ौआ विवाह’ का खूनी अंत! बेगूसराय ट्रिपल मर्डर की Inside Story

बिहार के बेगूसराय में ट्रिपल मर्डर से सनसनी मच गई है. यहां एक पिता अपनी बेटी को उसके ससुराल लेकर गया था, साथ में अपने बेटे को भी लेकर गया था. बेटी की ससुराल पहुंचते ही ससुराली भड़क गए और दोनों पक्षों के बीच मारपीट शुरू हो गई. इस दौरान बेटी के ससुर ने तीनों को गोली मार दी, जिससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई. पुलिस को बताया गया कि पकड़ौआ विवाह के बाद से ससुराली नाराज थे, जिस कारण गोलीकांड की वारदात को अंजाम दिया गया. क्या है पूरी कहानी चलिए जानते हैं...

बिहार के बेगूसराय से ट्रिपल मर्डर की सनसनीखेज वारदात सामने आई है. यहां दो पक्षों के बीच पहले जमकर बहसबाजी हुई. फिर चलने लगीं ताबड़तोड़ गोलियां. गोलीकांड में एक पक्ष के तीन लोगों की मौत हो गई. वहीं, दूसरे पक्ष से भी एक व्यक्ति मारपीट में गंभीर रूप से घायल हुआ है. मामला बेहद उलझा हुआ है. मृतक परिवार के लोगों का कहना है कि उनकी बेटी की लव मैरिज गोबिंदपुर के रहने वाले एक युवक से हुई थी. लेकिन ससुराल वाले उनकी लड़की को अपना नहीं रहे थे.

डेढ़ साल से लड़की अपने मायके में ही रह रही थी. फिर जब लड़के के बड़े भाई की शादी की खबर लड़की के परिवार को हुई तो वे एक बार फिर अपनी बेटी को लेकर उसके ससुराल पहुंचे. उन्हें लगा कि शायद अब उनकी बेटी के ससुराल वाले उसे अपना लेंगे. लेकिन जैसे ही वे लोग वहां पहुंचे तो लड़के के घर वालों के साथ उनका विवाद हो गया. लड़के के घर वालों ने लड़की को अपने यहां रखने से साफ कर दिया. फिर दोनों पक्षों में इसी बात को लेकर बहस शुरू हुई. बहस के बाद मारपीट. उसी दौरान लड़के के पिता ने लड़की, उसके पिता और भाई को गोली मार दी.

फौरन पुलिस को सूचना दी गई. शवों को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भिजवा दिया गया है. वहीं, आरोपी पक्ष फरार है. उनकी तलाश में हर जगह पुलिस छापेमारी कर रही है. एसपी मनीष के मुताबिक, साहेबपुर कमाल थाना क्षेत्र के श्रीनगर छर्रापट्टी निवासी उमेश यादव की बेटी की शादी गोविंदपुर वार्ड नंबर 9 निवासी संजय यादव के बेटे ललन यादव के साथ हुई थी. जिसके बाद संजय यादव के परिवार के लोगों का बराबर अपने रिश्तेदार के यहां श्रीनगर छर्रापट्टी आना-जाना शुरू हो गया. उमेश की 21 वर्षीय बेटी नीलू कुमारी भी अपनी बड़ी बहन के घर गोविंदपुर आती-जाती थी.

इसी दौरान बड़ी बहन के चचेरे देवर हिमांशु से नीलू की नजदीकियां बढ़ने लगीं और दोनों के बीच अफेयर शुरू हो गया. दोनों अक्सर छुप-छुप कर एक दूसरे से मिलते थे. लेकिन उनके अफेयर की भनक दोनों की परिवारों को नहीं थी. डेढ़ साल पहले एक दिन परिवार वालों ने नीलू और हिमांशु को एक कमरे में साथ में देख लिया. जैसे ही उन्हें पता चला कि दोनों के बीच अफेयर है तो वहां उन लोगों ने हिमांशु को पीटना शुरू कर दिया. जिसके बाद इस बात पर सहमति बनी कि हिमांशु और नीलू की शादी करवा दी जाए. फिर मंदिर में उनकी शादी करवा दी गई. लेकिन हिमांशु के घर वालों को यह रिश्ता मंजूर नहीं था. इसलिए उन्होंने नीलू को अपने यहां रखने से इनकार कर दिया.

15 लाख रुपये दहेज की शर्त

जिसके बाद से नीलू अपने ही मायके में रह रही थी. जबकि, हिमांशु अपने घर में. नीलू के घर वालों की मानें तो, हिमांशु के घर वाले बाद में 15 लाख दहेज की शर्त पर उनकी बेटी को रखने के लिए तैयार हो गए. नीलू के घर वालों ने जैसे तैसे करके पैसों का इंतजाम भी कर लिया. तभी उन्हें पता चला कि हिमांशु के बड़े भाई की कहीं शादी होने वाली है. नीलू के घर वालों को जब इस बात का पता चला तो वे लोग 15 लाख रुपये लेकर नीलू के ससुराल पहुंचे. उन्हें लगा कि घर में शादी का माहौल है. क्या पता अब नीलू के ससुराल वाले उसे स्वीकार कर लें. नीलू, उसके पिता 60 वर्षीय उमेश यादव और 25 वर्षीय भाई राजेश यादव जैसे ही गोबिंदपुर पहुंचे तो वहां हिमांशु के परिवार वालों के साथ उनकी बहस हो गई. हिमांशु के पिता अशोक यादव ने कहा कि वो उनकी बेटी को अपने यहां नहीं रखेंगे. वो उसे बहू नहीं मानते हैं. यह सुनते ही नीलू के परिवार और हिमांशु के परिवार के बीच मारपीट शुरू हो गई.

पकड़ौआ विवाह की बात आई सामने

तभी अशोक यादव ने बंदूक से नीलू, उमेश और राजेश को गोली मारकर मौत के घाट उतार दिया. तीनों की मौके पर ही मौत हो गई. वहां मौजूद लोगों ने पुलिस को इसकी सूचना दी. इसी बीच हिमांशु और उसके परिवार वाले मौके से फरार हो गए. फिलहाल पुलिस ने मामला दर्ज करके जांच शुरू कर दी है. आरोपियों की धरपकड़ के लिए टीमों का गठन किया गया है. एसपी मनीष की मानें तो लोगों से पूछताछ के बाद कहीं न कहीं ये मामला पकड़ौआ विवाह का भी लग रहा है. आरोपी पक्ष के रिश्तेदारों ने बताया जा रहा है कि हिमांशु की शादी जबरन नीलू से करवा दी गई थी. जिस कारण अशोक इस रिश्ते के लिए मंजूर नहीं थे. मामले में अभी जांच जारी है. कौन सा पक्ष सही बोल रहा है, पुसिस की पूरी जांच के बाद ही ये सब साफ हो पाएगा.

उधर, हत्या के विरोध में आक्रोशित परिजनों ने एनएच 31 को जामकर जमकर हंगामा किया तथा अपराधियों की जल्द गिरफ्तारी की मांग पर अरे रहे. हालांकि, प्रशासन के समझाने बुझाने के बाद जाम को हटा लिया गया है. पीड़ित परिवार ने यह जाम साहेबपुर कमाल थाना क्षेत्र के रघुनाथपुर के समीप लगाकर विरोध प्रदर्शन किया था.

(इनपुट: बबलू राय, बेगूसराय)