दिल्ली में प्रदूषण के खिलाफ एक्शन में AAP सरकार…मंत्री गोपाल राय ने मोर्चा संभाला
दिल्ली मे वायु प्रदूषण से निपटने के लिए राज्य सरकार ने तैयारी शुरु कर दी है.मंगलवार को दिल्ली के पर्यवरण मंत्री गोपाल राय ने गार्डों को बिजली के हीटर बांट कर विंटर एक्शन प्लान की शुरूआत की .इस मौके पर गोपाल राय ने कहा कि दिल्ली सरकार के प्रयासों के चलते इस साल अभी तक पिछले सालों के तुलना में कम प्रदूषण देखने को मिला है.
दिल्ली में बढ़ते वायु प्रदूषण को लेकर सरकार चिंतित हैं और इसे कम करने के लिए अलग अलग तरीके अपना रही है. मंगलवार को दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने दिल्ली सचिवालय में विंटर एक्शन प्लान के तहत नाइट शिफ्ट में काम करने वाले सुरक्षा गार्डों को बिजली के हीटर बांटे और इस अभियान की शुरुआत की.
गोपाल राय ने कहा कि दिल्ली और पूरे उत्तर भारत में पिछले सालों के मुकाबले प्रदूषण के स्तर को देखा जाए तो 1 से 15 नवंबर के बीच दिल्ली को AQI 400 के पार जाता है. कई बार तो इससे ऊपर भी गया है. लेकिन इस वर्ष अभी तक दिल्ली का AQI गंभीर स्थिति में नहीं गया हैं.
दिल्ली में विंटर एक्शन प्लान लागू
सर्दियों के मौसम में होने वाले वायु प्रदूषण की समस्या से निपटने के लिए 25 सितंबर को 21 सूत्री विंटर एक्शन प्लान की सरकार ने घोषणा की गई थी. जिसके आधार पर संबंधित विभागों ने इसे जमीन स्तर पर लागू करने के लिए गंभीरता पूर्वक काम कर रही है. सरकार प्रदूषण को कम करने के लिए कई अभियान चला रही है, जैसे एंटी डस्ट अभियान, बायो डीकम्पोज़र का छिड़काव, वृक्षारोपण अभियान और जागरूकता अभियान . सरकार ने पूरे दिल्ली में सड़कों पर 200 से ज्यादा मोबाइल एंटी स्मोग गन से पानी के छिड़काव का शुरू किया गया है.
एंटी ओपन बर्निंग अभियान
गोपाल राय ने कहा कि सर्दियों में खुले में आग जलाने से भी प्रदूषण बढ़ता है इसीलिए सरकार द्वारा 6 नवंबर से 1 महीने के लिए दिल्ली में एंटी ओपन बर्निंग अभियान शुरू किया गया है. टीमें 24 घंटे दिल्ली में ओपन बर्निंग की घटनाओ की निगरानी और उसे रोकने का काम करेंगी. सरकारी विभाग ,आरडब्लूए, निर्माण एजेंसी को सुरक्षा गार्डों को बिजली के हीटर बांटने के निर्देश दिए गए है. ताकि खुले में बायोमास और ठोस अपशिष्ट को जलाने को कम किया जा सके.
सरकार के प्रयास से कम प्रदूषण
गोपाल राय ने बताया कि इस साल अभी तक दिल्ली का AQI इंडेक्स सिवियर कैटगरी में नहीं गया है. इसमें मुख्य तौर पर 3 फैक्टर रहे हैं, जिसके कारण दिल्ली का AQI अभी भी गंभीर श्रेणी से बाहर बना हुआ है. पहला दिल्ली के अंदर सरकार द्वारा लगातार जो दीर्घकालिक प्रयास किए गए.
दूसरा विंटर एक्शन प्लान के अंतर्गत कई तात्कालिक कदम उठाए गए, जैसे डस्ट प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए अभियान , वाहन प्रदूषण को नियत्रित करने के लिए उठाए गए कदम , बायोमास वर्निग को रोकने के लिए अभियान, इसके साथ-साथ पिछले सालों की तुलना में इस साल पराली जलने की घटनाओं कमी आई है.
इसके साथ इस साल पिछले सालों की तुलना में तापमान में उतनी कमी नहीं आई है और हवा की गति भी बीच-बीच में बढ़ने के वजह से प्रदूषण का स्तर सिवियर कैटेगरी में नहीं पहुंचा है.