Sundar Pichai ने किया डेस्क शेयरिंग पॉलिसी का बचाव, ‘Ghost Town’की तरह हैं दफ्तर
CEO Sundar Pichai ने कर्मचारियों के लिए क्लाउड यूनिट की नई Desk-Sharing Policy का बचाव किया है. ऐसे में ऑफिस स्टॉफ को अकेले काम नहीं करना पड़ेगा और गूगल के बड़े ऑफिसों का बेहतर तरीके से इस्तेमाल किया जा सकेगा.
गूगल के CEO Sundar Pichai ने कर्मचारियों के लिए क्लाउड यूनिट की नई Desk-Sharing Policy का बचाव किया है. पिचाई ने कंपनी के कुछ ऑफिस को प्रेक्टिकली रूप से खाली और कर्मचारियों को याद दिलाते हुए बताया कि रियल एस्टेट महंगा है. रिपोर्ट्स के मुताबिक, पिचाई ने पिछले हफ्ते एक कंपनी की मीटिंग में कहा कि “मेरे लिए ये क्लियर है कि वे कुशल होने और पैसे बचाने की कोशिश कर रहे हैं लेकिन इसके साथ रिसोर्सेज का भी इस्तेमाल करते हैं. ऐसे में जो लोग लगातार शिकायत करते हैं कि वे अंदर आते हैं और खाली डेस्क मिलने पर ऐसा एक्सपीरियंस करते हैं कि ये Ghost Town है. ऐसे में ऑफिस स्टॉफ को अकेले काम नहीं करना पड़ेगा और गूगल के बड़े ऑफिसों का बेहतर तरीके से इस्तेमाल किया जा सकेगा.
रिपोर्ट के मुताबिक, क्लाउड कर्मचारियों और पार्टनर्स को डिवीजन के पांच सबसे बड़ी लेकेशन्स पर डेस्क शेयर करने के लिए Google की योजना के बारे में बताया गया है. इसमें न्यूयॉर्क और सैन फ्रांसिस्को शामिल हैं. गूगल ने इस सीटिंग अरेंजमेंट को इंटरनल डॉक्यूमेंट्स में ‘क्लाउड ऑफिस एवोलुशन’ (CLOE) नाम दिया गया है.
रेवेन्यू में आई कमी
फरवरी की शुरुआत में अल्फाबेट की चौथी तिमाही की अर्निंग कॉल पर एग्जीक्यूटिव ने कहा कि वो उम्मीद करते हैं कि ग्लोबल ऑफिस स्पेस कम होने से संबंधित मौजूदा पीरियड में Google को लगभग $ 500 मिलियन की लागत आएगी ऐसे में कंपनी का रेवेन्यू में कमी आएगी. रिपोर्ट्स के मुताबिक पिचाई ने बताया कि हफ्ते में केवल दो दिन बहुत से लोग ऑफिस आते हैं जिससे ऑफिस स्पेस का कम इस्तेमाल हो पा रहा है. पिचाई ने कहा कि फाइनेंशियल रिसोर्सेज को हमे अच्छे से मैनेज करके चलना चाहिए. गूगल के ऑफिस में काफी स्पेस है जिसका इस्तेमाल पूरी तरह नहीं हो पा रहा है. ऐसे में ऑफिस का सिर्फ 30 प्रतिशत स्पेस ही इस्तेमाल पा रहा है.
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