इमरान ही नहीं, इनको दबोचने में भी छूट गए पसीने! हिलाने वाली हाई प्रोफाइल हस्तियां
इमरान खान की गिरफ्तारी करने पहुंची पुलिस और समर्थकों में बवाल जारी है, इमरान खान ने वीडियो जारी कर जेल में अपनी हत्या कराए जाने की आशंका जताकर इस हंगामे को और बढ़ा दिया है.
पाकिस्तान में पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की गिरफ्तारी करने पहुंची पुलिस और समर्थकों में बवाल जारी है, लगातार कई घंटों से चल रहे इस हंगामे से पूरे पाकिस्तान में हड़कंप है, इस बीच इमरान खान ने वीडियो जारी कर जेल में अपनी हत्या कराए जाने की आशंका जताकर इस हंगामे को और बढ़ा दिया है. हालात इतने खराब हो चुके हैं कि समर्थक लगातार पुलिस पर पथराव कर रहे हैं.
इसमें कई सुरक्षाकर्मी घायल भी हो चुके हैं, कुछ समर्थकों को भी हिरासत में लिया गया है. पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान पर आरोप हैं कि पद पर रहते हुए उन्होंने विदेशों से मिले गिफ्टों को तोशाखाना से कम दाम पर खरीद कर महंगे दाम पर बेच दिया. हालांकि ये पहला मामला नहीं है, जब पाकिस्तान में किसी नेता की गिरफ्तारी पर इतना बवाल हो रहा हो. इससे पहले भी पाकिस्तान के कई नेताओं की गिरफ्तारी पर समर्थकों और पुलिस में ऐसी ही भिड़ंतें हो चुकी हैं.
1- नवाज शरीफ
इमरान खान जैसा ही बवाल पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की गिरफ्तारी के वक्त भी हुआ था. उस वक्त भी 50 से ज्यादा लोग घायल हुए थे. यह मामला पांच साल पहले का है, जब नवाज शरीफ बेटी मरियम के साथ पाकिस्तान लौटे थे. यहां उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया था. उस वक्त लाहौर एयरपोर्ट जाने और नवाज के समर्थन में रैली निकालने के लिए समर्थकों और पुलिस के बीच तगड़ी भिड़ंत हुई थी. हालात को काबू करने के लिए पुलिस को वाटर कैनन चलाने पड़े थे और आंसू गैस के गोले भी छोड़ने पड़े थे. इस हंगामा में कई समर्थक और पुलिसकर्मियों को चोटें भी आईं थीं.
2- परवेज मुर्शरफ
पाकिस्तान में तख्ता पलट कर राष्ट्रपति बने परवेज मुर्शरफ को देशद्रोह के आरोप में 2013 में गिरफ्तार किया गया. उन पर ब्लूचिस्तान के नेता बुगती और आपात काल के दौरान जजों को हिरासत में लिए जाने का आरोप था. उस समय भी पाकिस्तान सरकार को विरोध प्रदर्शनों का सामना करना पड़ा था. आतंकी हमलों तक की धमकियां दी गईं थीं. हालात इतने बिगड़ गए थे कि पाक सरकार मुर्शरफ को जेल तक ले जाने की हिम्मत नहीं कर पाई थी और परवेज को उनके फॉर्म हाउस में ही नजरबंद कर दिया गया था. इस मामले में मुर्शरफ को फांसी की सजा सुनाई गई थी, इसके बाद वह इलाज कराने के नाम पर दुबई गए, लेकिन वहां से लौटे नहीं, वहीं उनका इंतकाल हो गया.
3- आसिफ अली जरदारी
पाकिस्तान के 11 वें राष्ट्रपति रहे आसिफ अली जरदारी की गिरफ्तारी के वक्त भी पाकिस्तान में प्रदर्शन हुए थे. इन प्रदर्शनों ने हिंसक रूप भी लिया था. जरदारी पर फर्जी बैंक अकाउंट के जरिए पाकिस्तान से बाहर पैसा भेजने के आरोप लगे थे. हालांकि उनकी गिरफ्तारी आसानी से इसलिए हो गई थी, क्योंकि उन्हें कोर्ट से गिरफ्तार किया गया था. उनकी गिरफ्तारी से पहले कोर्ट जाने वाली सभी सड़कों को बंद कर दिया गया था, ताकि प्रदर्शनकारी कोर्ट तक न पहुंच सकें. बता दें कि 2008 में राष्ट्रपति बनने से पहले भी जरदारी 11 साल तक जेल में रहे थे.