Vastu Tips: लिविंग रूम को ऐसे बनाएं सुख-समृद्धि और खुशियों का कक्ष, अपनाएं वास्तु के नियम
घर में सुख और शांति के लिए घर का हर एक हिस्सा वास्तु के अनुरूप होना चाहिए. वास्तु शास्त्र में दिशाओं का विशेष महत्व होता है क्योंकि हर एक दिशाओं के स्वामी देवता और ग्रह होते हैं. जो व्यक्ति के जीवन में तरक्की और सुख प्रदान करते हैं
हर कोई व्यक्ति चाहे जहां रहे, लेकिन जब तक वह अपने खुद के घर में नहीं पहुंचता तब तक उसे सुकून और शांति नहीं मिलती है. घर में सुख और शांति के लिए घर का हर एक हिस्सा वास्तु के अनुरूप होना चाहिए. वास्तु शास्त्र में दिशाओं का विशेष महत्व होता है क्योंकि हर एक दिशाओं के स्वामी देवता और ग्रह होते हैं. जो व्यक्ति के जीवन में तरक्की और सुख प्रदान करते हैं. वास्तु के अनुसार अगर घर में कोई वास्तुदोष है या फिर घर वास्तु सम्मत नहीं है तो नकारात्मक असर देखने को मिलता है. वास्तु शास्त्र में जीवन में तरक्की, सुख-सुविधा और शांति पाने के लिए कुछ उपाय बताए गए हैं जिसको अपनाने पर व्यक्ति का जीवन सुखमय रहता है.
सात घोड़ों की फोटो
वास्तु शास्त्र के अनुसार घर के लिविंग रूम में सात घोड़े वाली फोटो या पेंटिंग को लगाना बहुत ही शुभ माना जाता है. सात घोड़ों की इन तस्वीरों को आप लीविंग रूम के पूर्व दिशा में लगाएं. इससे घर में हमेशा सकारात्मकता का माहौल और सुख-शांति बनी रहती है.
मछली की फोटो या एक्वेरियम
वास्तु में मछली को बहुत ही शुभ जीव माना गया है. मछली सुख और संपन्नता की निशानी होती है. ऐसे में आप घर के लीविंग रूम में एक्वेरियम रख सकते हैं. अगर आप घर में एक्वेरियम नहीं रखना चाहते तो मछली की आकृति की कोई फोटो जरूर लगाएं. इससे व्यक्ति के जीवन में खुशहाली और तरक्की आती है.
चिड़िया की तस्वीर
घर में सकारात्मकता और शांति के लिए घर के एक हिस्से में चिड़िया के ऐसी तस्वीर लगा सकते हैं जिसमें वह अपने बच्चों के साथ घोंसले में बैठकर उन्हें दाने खिला रही हो.
फ्लावर पॉट जरूर रखें
घर में रंग बिरंगे खुशबूदार फूल और पौधे होने समृद्धि आती है. ऐसे में घर के लीविंग रूम में आपको एक सुंदर सा गुलदस्ता जरूर रखना चाहिए. आप इस गुलदस्ते को उत्तर दिशा में या फिर ईशान कोण में रखें.
मुख्य द्वार पर करें ऐसी सजावट
वास्तु के अनुसार सबसे पहले शुभ और सकारात्मक ऊर्जा घर के मुख्य द्वार से ही होकर प्रवेश करती है. घर का मुख्य कक्ष और द्वार आईना होता है. ऐसे में इस जगह पर आपको शुभ प्रतीक चिह्न जैसे स्वास्तिक, ॐ, कलश, पवनघंटी, शंख, मछलियों का जोड़ा,तोरण या आशीर्वाद मुद्रा में बैठे गणेश जी को लगाना चाहिए.