SC के फैसले का Gautam Adani ने किया स्वागत, बोले-‘सत्यमेव जयते’
अडानी-हिंडनबर्ग रिसर्च रिपोर्ट के मामले का पटाक्षेप जल्द हो सकता है. सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले पर सुनवाई करते हुए गुरुवार को एक अहम फैसला सुनाया. इस फैसले का स्वागत करते हुए गौतम अडानी ने कहा है 'सत्यमेव जयते'
अडानी-हिंडनबर्ग मामले (Adani-Hindenburg Row) में गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने एक बड़ा फैसला सुनाया. देश की सबसे बड़ी अदालत का कहना है कि मामले की जांच के लिए एक कमेटी बनाई जाए. उद्योगपति गौतम अडानी (Gautam Adani) ने इस फैसले का स्वागत किया है. उन्होंने कहा कि ‘सत्य की जीत’ होगी. अमेरिकी शॉर्ट सेलिंग कंपनी हिंडनबर्ग रिसर्च (Hindenburg Research) ने अडानी समूह के खिलाफ 24 जनवरी 2023 को एक रिपोर्ट जारी की थी. इस रिपोर्ट ने समूह की कंपनियों (Adani Group Shares) के शेयर्स में भूचाल लाने का काम किया है.
गौतम अडानी ने ट्विटर पर लिखा, ‘अडानी समूह माननीय सुप्रीम कोर्ट के आदेश का स्वागत करता है. ये समयबद्ध तरीके से मामले को अंतिम पड़ाव पर पहुंचाएगा. ‘सत्यमेव जयते’.
The Adani Group welcomes the order of the Hon’ble Supreme Court. It will bring finality in a time bound manner. Truth will prevail.
— Gautam Adani (@gautam_adani) March 2, 2023
‘निवेशकों की सुरक्षा के लिए जांच जरूरी’
सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश डी. वाई. चंद्रचूड़, न्यायमूर्ति पी. एस. नरसिम्हा और न्यायमूर्ति जे. बी. परदीवाला ने मामले की सुनवाई करते हुए ये फैसला सुनाया. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि निवेशकों की सुरक्षा के लिए ये जांच जरूरी है.
सुप्रीम कोर्ट ने 17 फरवरी को ही इस मामले में फैसला सुरक्षित रख लिया था. वहीं प्रस्तावित जांच कमेटी में शामिल विशेषज्ञों के नाम की सूची एक सील कवर में स्वीकार करने से मना कर दिया था. सु्प्रीम कोर्ट का कहना था कि वह इस मामले में पूरी पारदर्शिता चाहती है, ताकि निवेशकों के हितों की सुरक्षा हो सके.
जांच कमेटी के चीफ होंगे रिटायर्ड जज
अडानी-हिंडनबर्ग मामले की जांच करने वाली कमेटी की अध्यक्षता सुप्रीम कोर्ट के रिटायर्ड जज ए. एम. सप्रे करेंगे. इसके अलावा इस कमेटी में के. वी. कामथ, नंदन नीलेकणि, सोमशेखरन सुंदरण, ओ. पी. भट और जे. पी. देवदत्त जैसे एक्सपर्ट शामिल होंगे.
सुप्रीम कोर्ट ने कमेटी से शेयर बाजार से जुड़े फ्रेमवर्क को मजबूत करने के लिए सुझाव देने के लिए कहा है. कमेटी अडानी मामले की जांच के साथ-साथ वैधानिक ढांचे की मजबूती के लिए भी सिफारिश करेगी.
2 महीने में पूरी करनी होगी जांच
सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में बाजार नियामक SEBI को आदेश दिया है कि वह सारी जानकारी कमेटी को उपलब्ध कराए. वहीं जांच की रिपोर्ट को दो महीने के भीतर एक सीलबंद लिफाफे में कोर्ट के पास जमा कराए.
अडानी-हिंडनबर्ग मामले में 4 जनहित याचिकाएं दायर की गईं थीं. ये याचिकाएं वकील एम. एल. शर्मा, विशाल तिवारी, कांग्रेस नेता जया ठाकुर और खुद को सामाजिक कार्यकर्ता बताने वाले मुकेश कुमार ने दायर की थीं.
हिंडनबर्ग रिसर्च ने अपनी रिपोर्ट में अडानी ग्रुप पर अकाउंटिंग फ्रॉड करने और शेयरों की कीमतों को मैन्युपुलेट करने का आरोप लगाया था. इसके बाद से समूह की कंपनियों के शेयर में भारी गिरावट दर्ज की गई है.