IND vs AUS 2nd Test: शर्मनाक हार के बाद ऑस्ट्रेलिया करेगा वापसी?
IND vs AUS: ऑस्ट्रेलिया को नागपुर टेस्ट में भारत के हाथों करारी शिकस्त मिली थी. भारत ने ये टेस्ट मैच पारी और 132 रन से अपने नाम किया था
भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच चार टेस्ट मैचों की सीरीज का दूसरा मुकाबला शुक्रवार से दिल्ली के अरुण जेटली स्टेडियम में खेला जाएगा. यह मैच टेस्ट स्पेशलिस्ट कहे जाने वाले बल्लेबाज चेतेश्वर पुजारा के करियर का 100वां टेस्ट होगा और वो इसे एक बड़ी पारी के साथ खास बनाना चाहेंगे. पहले टेस्ट मैच में बड़ी जीत के बावजूद टीम इंडिया के लिए कुछ खिलाड़ी सिरदर्द बने हुए हैं जिसका उन्हें तोड़ निकालना होगा. भारत का टॉप ऑर्डर उम्मीद के मुताबिक प्रदर्शन नहीं कर पाया है. दिल्ली में ये टीम इंडिया के लिए बड़ी मुश्किल बन सकता है.
कप्तान रोहित शर्मा को छोड़ दें तो अन्य बल्लेबाज शुरुआती टेस्ट में नहीं चल सके. नागपुर में पहले टेस्ट में रोहित ने शतकीय पारी खेली. राहुल के अलावा संघर्ष करने वाले खिलाड़ियों की सूची में विराट कोहली और कुछ हद तक पुजारा भी शामिल हैं. स्पिनरों का सामना करने में कोहली कोई कसर नहीं छोड़ रहे हैं. इसलिये कोहली का फिर से नाथन लायन और टॉड मर्फी का सामना करना दिलचस्प हो सकता है.
राहुल का खराब फॉर्म जारी
केएल राहुल के लिए समय निकलता जा रहा है क्योंकि शुभमन गिल को बेहतरीन फॉर्म में होने के बावजूद इंतजार करना पड़ रहा है. राहुल 46 टेस्ट करियर में मिले इतने सारे मौकों का फायदा नहीं उठा सके हैं और उनका औसत भी 34 से कम का रहा है. अंतिम दो टेस्ट के लिये टीम की घोषणा से पहले अगर कर्नाटक का यह 30 वर्षीय खिलाड़ी फिर असफल रहता है तो यह देखना दिलचस्प होगा कि भारतीय टीम प्रबंधन क्या फैसला करता है. रविचंद्रन अश्विन और रवींद्र जडेजा ने नागपुर में पारी की जीत के दौरान ऑस्ट्रेलियाई टीम को काफी दबाव में ला दिया था लेकिन फिरोजशाह कोटला में एक और धीमी गति की टर्न लेने वाली पिच होगी या नहीं, इस पर कुछ भी नहीं कहा जा सकता है.
धीमी होगी दिल्ली की पिच
वहीं आस्ट्रेलियाई टीम जब तक अच्छी बल्लेबाजी नहीं करेगी तब तक इस टेस्ट को पांचवें दिन तक नहीं ले जा पायेगी. फिरोजशाह कोटला की पिच पर जब नमी सूख जायेगी तो यह पिच निर्जीव हो जायेगी. कोटला की पिच नागपुर की तुलना में थोड़ी धीमी हो सकती है जिससे भारतीय बल्लेबाजों को अपने कप्तान की तरह डिफेंसिल होकर बल्लेबाजी करने से ही फायदा मिलेगा. मैदान में एक तरफ छोटी बाउंड्री है तो ऑस्ट्रेलियाई कप्तान कप्तान पैट कमिंस ओल्ड पवेलियन छोर से नाथन लायन को गेंदबाजी कराने में सतर्क रहेंगे क्योंकि लेग साइड की बाउंड्री मुश्किल से 60 मीटर होगी.
वॉर्नर का खेलना तय नहीं
डेविड वॉर्नर को एक और मौका मिलेगा या नहीं, यह सवाल कायम है. वॉर्नर का खराब प्रदर्शन आस्ट्रेलिया के लिए चिंता का विषय है. क्या उन्हें एक और मौका मिलता है यह देखना होगा. टीम में मैट कुहनेमैन के रूप में एक अतिरिक्त बाएं हाथ का स्पिनर लाने के बाद यह देखना भी दिलचस्प होगा कि क्या ऑस्ट्रेलिया तीन स्पिनरों के साथ उतरने का फैसला करता है या नहीं. मिचेल स्टार्क अगर फिट होते हैं तो स्कॉट बोलैंड की जगह ले सकते हैं.