पहले जुलूस पर किया पथराव, अब दुकानों पर चला बुलडोजर… राजस्थान के शाहपुर में बवाल के बाद एक्शन में प्रशासन
राजस्थान के शाहपुर जिले के जहाजपुर इलाके में झांकी निकालने के दौरान हुई पत्थरबाजी के बाद बढ़े विवाद को निपटाने के लिए नगर पालिका प्रशासन ने शनिवार और रविवार दो दिन लगातार अवैध निर्माण पर बुलडोजर कार्रवाई की. राजस्थान में ऐसा पहली बार हुआ कि किसी अवैध निर्माण पर रात में प्रशासन ने बुलडोजर करवाई की हो.
राजस्थान के शाहपुर जिले के जहाजपुर इलाके में झांकी निकालने के दौरान हुई पत्थरबाजी के बाद बढ़े विवाद को निपटाने के लिए नगर पालिका प्रशासन ने शनिवार और रविवार दो दिन लगातार अवैध निर्माण पर बुलडोजर कार्रवाई की. राजस्थान में ऐसा पहली बार हुआ कि किसी अवैध निर्माण पर रात में प्रशासन ने बुलडोजर करवाई की हो. जहाजपुर में जलझूलनी एकादशी पर शनिवार दोपहर ठाकुर जी की झांकी निकालने के दौरान दो पक्ष आमने-सामने आ गए थे.
घटना के अनुसार झांकी जब जहाजपुर कस्बे के जामा मस्जिद के सामने से गुजरी तो दोनों पक्ष आमने-सामने हो गए और तनाव की स्थिति पैदा हो गई. इसी दौरान कुछ लोगों ने मस्जिद के ऊपर से झांकी निकाल रहे श्रद्धालुओं पर पत्थरबाजी शुरू कर दी. अचानक हुई पत्थरबाजी में कई श्रद्धालुओं और पुलिस कर्मियों को चोटें आईं. इसके बाद सभी श्रद्धालु मौके पर जमा हो गए और ठाकुर जी की यात्रा को वहीं रोक दिया गया.
सभी दोषियों को किया गया गिरफ्तार
सूचना पर स्थानीय विधायक गोपीचंद मीणा मौके पर पहुंचे और प्रशासन से सभी दोषियों को तुरंत गिरफ्तार करने की मांग की और मस्जिद के निर्माण को अवैध बताते हुए बुलडोजर कार्रवाई की मांग पर अड़ गए. प्रशासन ने तुरंत कार्रवाई करते हुए 9 लोगों को डिटेन किया और मस्जिद के बाहर नोटिस चस्पा कर दिया. नगर पालिका की तरफ से मस्जिद कमेटी को दिए नोटिस में मस्जिद के पट्टे और निर्माण की स्वीकृति के साथ-साथ सभी दस्तावेज 24 घंटों के अंदर उपलब्ध कराने और स्पष्टीकरण देने का आदेश दिया. वहीं धीरे-धीरे कल्याण जी के मंदिर के पास तमाम हिंदू संगठन स्थानीय विधायक गोपीचंद मीणा के नेतृत्व में इकट्ठे होने लगे और मस्जिद को अवैध बताते हुए बुलडोजर से तोड़ने की मांग करने लगे.
अवैध निर्माण पर बुलडोजर चलाने की मांग
उसके बाद देर रात करीब 11 बजे जहाजपुर के शाहपुरा रोड पर नगर पालिका के अधिकारी बुलडोजर दस्ता लेकर पहुंच गए और सड़क पर स्थित 60 से ज्यादा दुकानों को अवैध बताते हुए उन्हें ध्वस्त कर दिया. देर रात को हुई इस कार्रवाई के बाद कल्याण जी के मंदिर पर धरने पर बैठे लोगों ने प्रशासन पर दबाव डालना शुरू कर दिया और मस्जिद के अवैध निर्माण पर बुलडोजर चलाने की मांग करने लगे. अगले दिन रविवार को प्रशासन में सभी संगठनों से बात कर उन्हें समझाया और धरने को देर शाम को समाप्त किया गया. उसके बाद रात करीब 1 बजे नगर पालिका के अधिकारी फिर से पीला पंजा लेकर निकले और मांडलगढ़ रोड पर स्थित छह से ज्यादा दुकानों को अवैध बताते हुए उन पर बुलडोजर चला दिया.
कांग्रेस नेता खाचरियावास ने क्या कहा?
लगातार दो दिन हुई बुलडोजर कार्रवाई के बाद कांग्रेस ने भाजपा सरकार को घेरना शुरू कर दिया. कांग्रेस नेता प्रताप सिंह खाचरियावास ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणी के बाद भी राजस्थान में बुलडोजर कार्रवाई थमने का नाम नहीं ले रही है. सरकार ना तो गरीबों की सुन रही है, ना ही क्राइम कंट्रोल कर पा रही है. सरकार सिर्फ अवैध अतिक्रमण बताकर बुलडोजर की कार्रवाई करते हुए सिर्फ झूठी वाहवाही लूट रही है. खाचरियावास ने कहा की दो दिन लगातार देर रात बुलडोजर की कार्रवाई बिल्कुल गलत है और ऐसा मैंने कभी नहीं देखा कि किसी सरकार ने देर रात बुलडोजर चला कर निर्माण को ध्वस्त किया हो. भाजपा को हिन्दू मुस्लिम करने के अलावा कुछ नहीं आता.
हाई कोर्ट के वरिष्ठ अधिवक्ता ने क्या कहा?
वहीं राजस्थान हाईकोर्ट के वरिष्ठ अधिवक्ता ऐ.के जैन ने कहा कि बुलडोजर जस्टिस अपने आप में ही न्याय का और न्यायपालिका का अपमान है क्योंकि किसी के विरुद्ध सिर्फ गलत काम करने पर उसे सजा दी जाती है और उसके मकान को ढहाने का एक प्रोविजन है. जैन ने कहा कि जस्टिस खजूरिया ने बहुत पहले एक बात स्पष्ट रूप से कही थी की जो लोग अवैध निर्माण होने देते हैं, अतिक्रमण होने देते हैं वो अधिकारी उन लोगों से ज्यादा दोषी हैं जिन्होंने अतिक्रमण किया या अवैध निर्माण किया हो, लेकिन अभी तक ऐसे अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं करने के बजाय किसी और उद्देश्य से किसी अपराध में लिप्त होने पर आरोपी के घर बुलडोजर चलाया जा रहा है और रात को जहां परिवार रह रहे हैं उनके मकान पर बुलडोजर चला कर उन्हें बेघर करना अपने आप में न्याय का अपमान है.
‘बुलडोजर जस्टिस बिल्कुल गलत’
उन्होंने आगे कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने भी अभी कुछ दिनों पहले स्पष्ट कहा है कि बुलडोजर जस्टिस बिल्कुल गलत है. बिना किसी कानूनी प्रक्रिया को अपनाते हुए मात्र एक अपराधी के अपराध में शामिल होने के कारण उसके घर पर बुलडोजर कार्रवाई नहीं की जा सकती. हमने उदयपुर में देखा है कि वहां पर अपराध किराएदार ने किया और मकान मालिक का मकान बुलडोजर से तोड़ा गया. पिछली सरकार में भी जयपुर में पेपर माफिया के मकान और उनसे जुड़े लोगों के किराए के मकान पर भी कार्रवाई की गई जो अपने आप में गंभीर बात है.