पानी में डूबा गांव, नाव में दुल्हन लाने निकला दूल्हा… बारात देखने के लिए लगी भीड़-Video

पानी में डूबा गांव, नाव में दुल्हन लाने निकला दूल्हा… बारात देखने के लिए लगी भीड़-Video

सरयू नदी का जलस्तर बढ़ने से बाराबंकी जिले के तलहटी में बसे गांवो में पानी घुस गया है. तटबंध के अंदर बने मकान भी जलमग्न हो गए हैं. लोग पलायन कर ऊंचे स्थानों पर शरण लिए हुए हैं. किसानों की सैकड़ों एकड़ फसलें बर्बाद हो गई है. इन मुश्किल हालत के बीच किसी के घर में शादी है तो किसी के घर में कोई दूसरा आयोजन.

उत्तर प्रदेश के बाराबंकी में एक बारात लोगों के बीच बड़ी चर्चा में बनी हुई है. बाढ़ के पानी में सड़क मार्ग डूबा तो दूल्हा नाव से बारात लेकर दुल्हनिया ब्याहने पहुंच गया. नाव में बैंड, बाजा और बारात को देखने के लिए गांववालों की भीड़ उमड़ पड़ी. लोगों ने इस अनोखी बारात का वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर डाल दिया, अब ये वीडियो जमकर वायरल हो रहा है.

नेपाल से पानी छोड़े जाने के बाद बाराबंकी जिले के कई गांव बाढ़ की चपेट में हैं. इसी बीच बाढ़ प्रभावित क्षेत्र की ग्राम पंचायत बल्लोपुर द्वितीय के माधवपुरवा में राम आसरे की बेटी की शादी थी. उसका रिश्ता जिले के सूरतगंज ब्लॉक के सैलक गांव से राघवराम से तय हुआ. लेकिन गांव जाने वाला रास्ता बाढ़ के पानी में पूरी तरह डूब गया था. दुल्हन के परिजनों को बारात आने की चिंता सता रही थी.

नाव से लेकर पहुंचा बारात

सड़क मार्ग न होने पर दूल्हा राघवराम दुल्हनिया लेने के लिए डीजे, बाजा और बराती लेकर नाव से निकल पड़ा. वह शादी करने के लिए नाव से बारात लेकर लड़की के गांव पहुंच गया. नाव सवार दूल्हा को देखने के लिए गांव के लोगों का हुजूम दौड़ पड़ा. तमाम ग्रामीण और बच्चे मौके पर इकट्ठा हो गए और क्षेत्र में नाव सवार बारातियों की खूब चर्चा होने लगी. इसका वीडियो अब सोशल मीडिया पर भी वायरल हो रहा है.

सरयू नदी के पानी में घिर गए दर्जनों गांव

सरयू नदी का जलस्तर खतरे के निशान 106.70 से 47 सेंटीमीटर ऊपर है. हालांकि मंगलवार रात से जलस्तर घट रहा है. नेपाल के गिरजा व शारदा बैराज से मंगलवार को चार लाख तीस हजार क्यूसेक पानी छोड़ा गया था. जिससे सरयू नदी ने रौद्र रूप धारण कर लिया. तलहटी के गांव कोयली पुरवा, पर्वतपुर, गायघाट, सकतापुर, दुर्गापुर, लहड़रा, जगरूप पुरवा, तिवारी पुरवा, चौभुजी पुरवा और बुधई सहित सैकड़ों गांव पानी से घिरे हैं. नदी से सटे जमका, खुज्जी, सुंदर नगर, बतनेरा, तपेसिपाह, कोरिनपुरवा, सिसौंडा और परसादी पुरवा के दर्जनों घरों में पानी जमा हो गया है. यहां के लोगों ने सुरक्षित स्थानों पर अपना ठिकाना बनाया है.

गांवों की सड़कें हुई जलमग्न

गांवो के मार्ग भी पूरी तरह जलमग्न हो गए हैं. मल्लाहन पुरवा के झोपड़ीनुमा घरों में पानी भरा है. यहां के रामनारायण और जुगलकिशोर का कहना है कि घरों में पानी प्रवेश हो गया है. खेतो में लगी फसल कुंदरू, परवल और धान की नर्सरी पानी में डूब गई है. ग्राम दुर्गापुर के मुख्य मार्ग पर पानी भरा है. इसी रास्ते से ग्रामीण व स्कूली बच्चे भी निकलते हैं. यहीं के किसान सोभई बताते हैं कि उनकी मेंथा की फसल खेत मे तैयार लगी थी. अचानक बाढ़ आने से पानी में डूब गई है.

हालांकि जिला प्रशासन बाढ़ ग्रस्त इलाकों पर नजर बनाए हुए हैं. राजस्व कर्मी राहत व बचाव में जुटे हैं. जिन गांवों के घरों में बाढ़ का पानी भर गया है, उन्हें बंधे पर बसाया गया. सभी के लिए विद्युत, स्वास्थ्य, भोजन और पानी आदि की व्यवस्था की गई है.