Makar Sankranti 2025 Live: मकर संक्रांति पर पवित्र स्नान करने के लिए देशभर से लाखों श्रद्धालु गंगासागर पहुंचे
मकर संक्रांति के दिन दान का विशेष महत्व है. इस दिन तिल, कंबल, लाल कपड़ा, लाल मिठाई, मूंगफली, चावल, मूंग की दाल की खिचड़ी, गुड़ और काली उड़द की दाल का दान किया जाता है. वहीं मकर संक्रांति पर आज सुबह 6.15 बजे से अमृत स्नान भी शुरू होगा, जो साढ़े 9 घंटे तक चलेगा.
LIVE NEWS & UPDATES
-
बंगाल: पवित्र स्नान करने के लिए देशभर से लाखों श्रद्धालु गंगासागर पहुंचे
मकर संक्रांति के अवसर पर आज गंगा और बंगाल की खाड़ी के संगम गंगासागर में पवित्र स्नान करने के लिए देशभर से लाखों श्रद्धालु पश्चिम बंगाल के दक्षिण 24 परगना जिले के सागर द्वीप पर पहुंचे हैं.कोलकाता से लगभग 100 किलोमीटर दूर स्थित इस द्वीप पर अब भी बड़ी संख्या में श्रद्धालु पहुंच रहे हैं. वहीं, हजारों तीर्थयात्री गंगासागर में पहले ही डुबकी लगा चुके हैं, कपिल मुनि आश्रम में पूजा अर्चना कर चुके हैं.
-
मकर संक्रांति पर गंगासागर में शुरू हुआ शुभ स्नान का दिन
पश्चिम बंगाल में सागर द्वीप पर गंगासागर मेला 2025 चल रहा है.इस बार मकर संक्रांति से काफी पहले लगभग 25 लाख लोग गंगासागर गए हैं. शुभ स्नान का दिन आज मकर संक्रांति से शुरू होगा.
#WATCH | South 24 Parganas, West Bengal | Ganga aarti was performed as Gangasagar Mela 2025 is underway on Sagar island.
Around 25 lakh people have been to Gangasagar this time well ahead of Makar Sankranti – the day of the auspicious dip, which will start today, January 14. pic.twitter.com/D64NhjBP50
— ANI (@ANI) January 13, 2025
-
अमित शाह आज गुजरात में मकर संक्रांति उत्सव में लेंगे हिस्सा
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह आज से गुजरात के तीन दिवसीय दौरे पर रहेंगे और इस दौरान वह कई परियोजनाओं का उद्धघाटन करेंगे तथा मकर संक्रांति उत्सव में भाग लेंगे. गांधीनगर सीट से लोकसभा सदस्य शाह आज अहमदाबाद शहर के थलतेज, रानिप और साबरमती इलाकों में लोगों के साथ पतंग उड़ाएंगे.मकर संक्रांति उत्सव को गुजरात में उत्तरायण के रूप में मनाया जाता है.
-
खिचड़ी को प्रसाद के रूप में ग्रहण करने की समृद्ध परंपरा
मकर संक्रांति पर्व पर देश के विभिन्न हिस्सों में खिचड़ी को प्रसाद के रूप में ग्रहण करने की समृद्ध परंपरा है और संपूर्ण देश में अलग अलग नामों से प्रचलित खिचड़ी का ऐतिहासिक दस्तावेजों में भी उल्लेख मिलता है. किताब में बताया गया है कि यूनानी राजदूत सेल्यूकस ने भारतीय उप महाद्वीप में दाल और चावल की लोकप्रियता के बारे में उल्लेख किया है, साथ ही मोरक्को के यात्री इब्नबतूता ने भी 1550 के अपने भारतीय प्रवास के दौरान चावल और मूंग से बने व्यंजन के रूप में खिचड़ी का वर्णन किया है.
मकर संक्रांति का पर्व 14 जनवरी यानी आज मनाया जाएगा. इस दिन से मौसम बदलने की शुरुआत भी होती है. मकर संक्राति पर खिचड़ी, गुड़, तिल का भोग लगता है.भारत में मकर संक्रांति पर्व के अवसर पर विभिन्न प्रांतों में प्रसाद के रूप में खिचड़ी तैयार की जाती है. कहीं इसे ताई पोंगल, कहीं खेचड़ा, कहीं माथल तो कहीं बीसी बेले भात कहा जाता है. नाम चाहे कुछ भी हो लेकिन इसे खाने का असली मजा दही, घी, पापड़ और अचार के साथ ही आता है. वहीं मकर संक्रांति पर ही महास्नान यानी शाही स्नान की तैयारी पूरी हो गई है, जिसे इस बार अमृत स्नान नाम दिया गया है. एक आधिकारिक बयान के अनुसार, महाकुंभ मेला प्रशासन की तरफ से पूर्व की मान्यताओं का पूरी तरह ध्यान रखते हुए सनातन धर्म के 13 अखाड़ों के लिए अमृत स्नान का भी स्नान क्रम जारी किया गया है.
Published On - Jan 14,2025 12:22 AM